बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में पहले चरण की वोटिंग ने नया इतिहास रच दिया है। राज्य में 64.7% मतदान दर्ज किया गया, जो पिछले 25 वर्षों में सबसे अधिक है। इस बार मतदाताओं ने बड़ी संख्या में घरों से निकलकर लोकतंत्र में अपनी भागीदारी निभाई।
गांवों से लेकर शहरों तक, हर बूथ पर मतदाताओं की लंबी कतारें दिखाई दीं। महिलाओं की भागीदारी विशेष रूप से उल्लेखनीय रही। चुनाव आयोग के अनुसार, महिलाओं का मतदान प्रतिशत पुरुषों से लगभग 5% अधिक रहा, जो बताता है कि बिहार की महिलाएं अब राजनीति में निर्णायक भूमिका निभा रही हैं।
चुनाव आयोग ने पारदर्शिता के लिए कई नई सुविधाएं दी हैं। इस बार मोबाइल फोन जमा करने की व्यवस्था, डिजिटल वोटर लिस्ट वेरिफिकेशन, और QR कोड आधारित बूथ एंट्री सिस्टम लागू किया गया है। इससे मतदान प्रक्रिया में पारदर्शिता बढ़ी और फर्जी वोटिंग की घटनाओं पर लगाम लगी।
बिहार के कई जिलों में युवा मतदाताओं का उत्साह भी देखने को मिला। कई पहली बार वोट डालने वालों ने कहा कि वे रोजगार, शिक्षा और भ्रष्टाचार जैसे मुद्दों पर वोट कर रहे हैं। यह संकेत है कि 2025 का चुनाव केवल राजनीतिक गठजोड़ नहीं, बल्कि जनता के वास्तविक मुद्दों पर लड़ा जा रहा है।

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